अलवर। जिले में प्राइवेट नौकरी लगाने के नाम लोगों से 11 लाख रुपए की ठगी करने का मामला सामने आया है। ठगी के बाद वंडर मॉल में बना ऑफिस भी बंद कर भाग गए। इस मामले में पीड़ित निजाम नगर लक्ष्मणगढ़ निवासी बने सिंह ने कोतवाली थाने में मामला दर्ज करवाया है। पीड़ित ने रिपोर्ट में बताया कि दौसा जिले के मयंक भावुका और पूजा पूजा सैनी ने “ईजी टू फाइंड प्रोवाइड सर्विस प्राइवेट लिमिटेड” नाम से एक फर्जी कंपनी बनाकर अलवर में वंडर मॉल में ऑफिस खोला था। पीड़ित के बेटे हरिओम को कंपनी में 12 हजार 500 रुपए मासिक वेतन पर नौकरी लगा रखा था।आरोप है कि इन लोगों ने नौकरी दिलाने के नाम पर आम लोगों से करीब 7 लाख 25 हजार रुपए की ठगी की। इसमें से 2 लाख 63 हजार 250 रुपए फोन पे के जरिए और 4 लाख 61 हजार 750 नकद लिए। यह पूरी रकम हरिओम के माध्यम से एकत्रित की गई। रुपए लेने के बाद ये लोग फरार हो गए। आरोप है कि सितंबर 2024 की सैलरी भी नहीं दी। जब शिकायतकर्ता ने पूजा सैनी को तलाश कर दबाव बनाया, तो उसने 23 अक्टूबर 2024 को एक शपथ पत्र में सारे आरोप स्वीकार किए। इसके बावजूद दोनों आरोपी कंपनी का ऑफिस बंद कर फरार हो गए।

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प्राइवेट नौकरी के नाम 8 लाख की ठगी, 9 महीने से सैलरी भी नहीं दी


Pankaj Garg
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