बाड़मेर। निर्दलीय विधायक रविंद्र सिंह भाटी के खिलाफ शिव थाने में पुलिस ने मामला दर्ज किया है। भारतीय राष्ट्रीय सौर ऊर्जा महासंघ (NSEFI) ने एक दिन पहले पीएम नरेंद्र मोदी और सीएम भजनलाल शर्मा को चिट्ठी लिखी थी। जिसमें बताया था कि विधायक रविंद्र सिंह भाटी की ओर से खड़ी जा रही अड़चनों से अक्षय ऊर्जा परियोजनाओं में 8500 करोड़ का निवेश अटक गया है।
इसके आधार पर बाड़मेर एसपी नरेंद्र कुमार मीणा के निर्देश पर शिव थाने में मामला दर्ज किया गया। मामले की जांच सीआईडी सीबी करेगी।
जानकारी के अनुसार, 7 जनवरी को NSEFI के CEO सुब्रह्मण्यम पुलिपका ने पत्र लिखकर विधायक रविंद्र सिंह भाटी की शिकायत की थी। इसमें लिखा था कि बाड़मेर के शिव विधानसभा क्षेत्र में पवन और सौर ऊर्जा परियोजनाओं के डेवलपर्स को स्थानीय विधायक के कारण समस्याएं हो रही हैं। कर्मचारियों को धमकियां दी जा रही है। जबरन वसूली की भी कोशिश की जा रही है। इस चिट्ठी पर पुलिस एक्टिव हुई और एसपी के निर्देश पर मामला दर्ज किया गया।
भाटी पर फेडरेशन ने लगाए गंभीर आरोप
फेडरेशन ने भाटी पर गंभीर आरोप लगाए हैं। इनके अनुसार- भाटी के दखल से 2 हजार मेगावाट तक की परियोजनाएं बेवजह 6 महीने से अटकी पड़ी है। यह व्यवहार राजस्थान में पहले कभी नहीं देखा गया।
फेडरेशन ने चेतावनी दी थी- यह सिलसिला नहीं थमा तो अक्षय ऊर्जा में निवेश करने के लिए दूसरे राज्यों का रुख करना पड़ेगा। फेडरेशन के सीईओ सुब्रह्मण्यम पुलिपका ने शिकायत की कॉपी मुख्य सचिव और डीजीपी को भी भेजी है। पत्र में आरोप लगाया गया है कि भाटी के अड़चन डालने के कारण 8500 करोड़ का निवेश अटक गया है।
विधायक बोले थे- कोई अड़चन नहीं डाली
मामले में शिव विधायक रविंद्र सिंह भाटी ने प्रतिक्रिया दी थी। उन्होंने कहा था- मैंने किसी भी तरह के प्रोजेक्ट में कोई अड़चन नहीं डाली। मैं मेरी विधानसभा क्षेत्र के किसानों के हक की लड़ाई लड़ रहा हूं। किसानों के साथ डीएलसी से दोगुने मुआवजे के नाम पर अन्याय किया जा रहा है। इलाके के किसान एकजुट है। मैं सिर्फ उनकी आवाज बन रहा हूं।
हाईटेंशन लाइन के लिए टावर लगाने का काम रुकवाया था
शिव क्षेत्र के करीब एक दर्जन गांवों के किसान हाईटेंशन लाइन के लिए टावर निर्माण में उचित मुआवजे की मांग को लेकर पिछले 70 दिनों से आंदोलन कर रहे थे। टावर निर्माण के लिए मात्र 50 हजार रुपए प्रति टावर मुआवजे की पेशकश से किसान असंतुष्ट थे। उन्होंने सम्मानजनक मुआवजे के लिए प्रोजेक्ट के काम को रुकवा दिया था। यह हाईटेंशन लाइन और टावर NSEFI के प्रोजेक्ट का हिस्सा है। ऐसे में NSEFI ने काम रुकने पर कड़ा रुख अपनाते हुए विधायक की शिकायत प्रधानमंत्री और सीएम के स्तर तक की है।
एक मामला पहले भी दर्ज हो चुका
17 नवंबर 2024 को भी निर्दलीय विधायक रविंद्र सिंह भाटी के खिलाफ राजकार्य में बाधा का केस दर्ज किया गया था। भाटी ने जैसलमेर में निजी कंपनी के विरोध में हो रहे प्रदर्शन के दौरान दो युवकों को पुलिस की जीप से जबरन उतार लिया था। तत्कालीन पुलिस अधीक्षक सुधीर चौधरी के निर्देश पर मामला दर्ज किया था। केस की जांच सीआईडी-सीबी कर रही है।