भीलवाड़ा। एक मूकबधिर नाबालिग से रेप के दोषी को पॉक्सो कोर्ट ने आजीवन कारावास की सुजा सुनाई है। कोर्ट ने बुधवार को फैसला सुनाते हुए अपराध को झकझोर देने वाला बताया है। दरअसल, जनवरी 2022 में एक नाबालिग पीड़िता के पेट में दर्द होने पर परिजन उसे भीलवाड़ा के महात्मा गांधी हॉस्पिटल लेकर पहुंचे। डॉक्टरों की टीम ने चेकअप किया तो मासूम के पेट में दो से ढाई महीने का भ्रूण होना सामने आया। पीड़िता के नाबालिग पाए जाने पर थाना पुलिस को सूचना दी गई। पुलिस ने हॉस्पिटल में जाकर पर्चा बयान लेकर मुकदमा दर्ज किया और जांच शुरू की। जांच में सामने आया कि नाबालिग मूक बधिर है। इस दौरान विशेषज्ञों की टीम बुलाई, जिसके समक्ष पीड़िता ने इशारों में अपनी आपबीती बताई।
पीड़िता ने इशारों में बताया कि जब वो अपने गांव गई थी, तो वहां दो लड़कों ने उसे रोका और एनिकट के पास ले गए। वहां एक लड़के ने उसके साथ दरिंदगी की, जिससे वो प्रेग्नेंट हो गई। पुलिस ने अनुसंधान पूरा करने के बाद पॉक्सो कोर्ट में वाद पेश किया। मामले में अभियोजन पक्ष की ओर से 98 डॉक्युमेंट और 51 गवाह पेश किए गए। पॉक्सो कोर्ट 2 के न्यायाधीश अनिल कुमार गुप्ता ने फैसला सुनाते हुए अपराध को झकझोर देने वाला बताया। उन्होंने टिप्पणी करते हुए कहा कि एक दिव्यांग गूंगी बहरी नाबालिग के साथ किसी व्यक्ति द्वारा पशु समान व्यवहार किया गया। ऐसे व्यवहार समाज में घृणित अपराध की श्रेणी में आते हैं। यह समाज को झकझोर देने वाले अपराध है। दोषी के प्रति नरमी का रुख अपनाया जाना संभव नहीं है। इसी वजह से उसको आजीवन कारावास की सजा से दंडित किया गया है। पॉक्सो कोर्ट ने आरोपी युवक को आजीवन कारावास और 50 हजार जुर्माने की सजा सुनाई।