सीकर। इंडियन गवर्नमेंट की गोल्ड बॉन्ड स्कीम में इन्वेस्टमेंट का झांसा देकर लाखों रुपए की ठगी करने का मामला सामने आया है। आरोप है कि उत्तरप्रदेश की रहने वाली दंपति ने शिकायतकर्ता को प्रॉफिट का झांसा देकर पैसे हड़प लिए। मामला सीकर जिले के दांतारामगढ़ थाना क्षेत्र का है। एसीजेएम कोर्ट, दांतारामगढ़ में दी शिकायत में आशीष कुमार शर्मा निवासी दांतारामगढ़ ने बताया कि उत्तरप्रदेश के गाजियाबाद निवासी दीपक गोविल और उनकी पत्नी ऋतु गोविल से पिछले 8 साल से उसकी जानकारी है। अगस्त 2024 में दीपक ने फोन कर आशीष को भारत सरकार द्वारा जारी गोल्ड बांड में निवेश का लालच दिया। दीपक ने दावा किया कि इस बांड पर बैंक 80% तक लोन की सुविधा देता है और केवल NSDL की फीस के लिए 10-15 लाख रुपए की जरूरत होगी। आशीष ने बैंक से इसकी पुष्टि की, जहां प्रक्रिया को सही बताया गया।
इसके बाद, दीपक के कहने पर आशीष ने 29 अगस्त 2024 को अपने ICICI बैंक डीमैट खाते में 2.06 करोड़ रुपए मूल्य का गोल्ड बांड ट्रांसफर करवाया। आशीष ने NSDL फीस के रूप में दीपक को 2 लाख रुपए फोनपे के जरिए, 2 लाख 40 हजार रुपए ICICI बैंक खाते में, 2 लाख रुपए कैश और 1.50 लाख रुपए USDT के रूप में भुगतान किया। दीपक ने आशीष को आश्वासन दिया कि 15 सितंबर 2024 तक बांड का पैसा उनके खाते में आ जाएगा। हालांकि, जब तय तारीख पर कोई भुगतान नहीं हुआ और दीपक ने फोन उठाना बंद कर दिया, तो आशीष को ठगी का अहसास हुआ। जब आशीष ने बैंक से संपर्क किया, तो बैंक ने बताया कि उनके जैसे कई फर्जी बांड सिस्टम हैक कर चढ़ाए जा रहे हैं, जो वास्तव में रिफ्लेक्ट नहीं होते। बैंक ने इन्हें ‘फ्लैश बांड’ करार देते हुए ठगी की आशंका जताई। आशीष ने दीपक और उनकी पत्नी ऋतु से पैसे वापस मांगे, लेकिन दोनों टालमटोल करते रहे। आशीष ने 4 मई 2025 को दांतारामगढ़ पुलिस थाने में शिकायत दर्ज की, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई। इसके बाद उन्होंने पुलिस अधीक्षक, सीकर को शिकायत भेजी, फिर भी प्रकरण दर्ज नहीं हुआ। मजबूरन आशीष ने 19 मई 2025 को एसीजेएम दांतारामगढ़ की अदालत में परिवाद-पत्र दायर किया। इसके बाद कोर्ट के आदेश पर दांतारामगढ़ थाना पुलिस ने मामला दर्ज कर लिया। फिलहाल पुलिस मामले की जांच में जुट गई है। मामले की जांच एसआई सुआलाल कर रहे हैं।