भीलवाड़ा। भीलवाड़ा में सफाई भर्ती को लेकर वाल्मीक समाज ने हंगामा कर दिया है। मंगलवार सुबह 9 बजे डंपिंग यार्ड में खड़े कचरे से भरे ट्रकों को सफाई कर्मचारी नगर निगम कार्यालय ले आए और निगम के चारों तरफ कचरा फैला दिया। इसके बाद सभी कर्मचारियों को नगर निगम से बाहर निकालकर दोनों मुख्य दरवाजों पर ताला लगा दिया। सफाई कर्मियों का आरोप है कि सफाईकर्मी भर्ती के लिए बना पोर्टल बंद कर दिया गया है। उन्हें अनुभव प्रमाण पत्र देने में देरी की गई। अब सभी अनुभव प्रमाण पत्र को निरस्त कर दिया है।
पूर्व पार्षद बोले- यह वाल्मीकि समाज के साथ कुठाराघात
पूर्व पार्षद राजकुमार घावरी ने बताया- राज्य सरकार की ओर से सफाई कर्मचारियों के लिए भर्ती निकाली गई। इसके लिए भीलवाड़ा में नगर परिषद भर्ती कमेटी बनाई गई। कमेटी ने वाल्मीकि समाज के साथ कुठाराघात किया है।
1 नवंबर से 27 नवंबर की रात 2 बजे तक कमेटी अभ्यर्थियों से दस्तावेज लेकर शपथ पत्र बनाती रही। साइन कराए,अंगूठे लगाए। 27 की रात 12 बजे पोर्टल बंद हो गया। 28 नवंबर की सुबह कहा कि दिए गए अनुभव प्रमाण पत्र निरस्त किए जाते हैं। कमेटी ने वाल्मीकि समाज को मूर्ख बनाया। जयपुर में सफाई भर्ती निरस्त हो गई है। यहां भी पूरी भर्ती को निरस्त किया जाए। स्थानीय 500 लोगों को संविदा पर लगाया जाए। बाद में उन्हें परमानेंट किया जाए।
हम अधिकारियों-कर्मचारियों को अंदर नहीं बैठने देंगे
शहर के सफाई मजदूर कांग्रेस के जिला अध्यक्ष रामदेव चन्नाल ने बताया- यह विरोध प्रदर्शन जिला प्रशासन के खिलाफ है। राज्य सरकार की सफाई कर्मी भर्ती प्रक्रिया में वाल्मीकि समाज के साथ अन्याय किया जा रहा है। भर्ती के लिए जरूरी अनुभव प्रमाण पत्र जमा कराने की बारी आई तो पोर्टल को बंद कर दिया। भर्ती के लिए हमने सभी तरह के दस्तावेज जमा कराए थे। पोर्टल बंद कर दिया गया है तो हमें रोजगार कैसे मिलेगा। हमारा नाम लिस्ट में नहीं है। हमारे लिए दरवाजे बंद कर दिए हैं। हमें पंगु बना दिया है। भीलवाड़ा का वाल्मीकि समाज कमजोर नहीं है। पूरे प्रदेश में वाल्मीकि समाज के अलावा दूसरा कोई समाज सफाई का कार्य नहीं करता है तो हमें सफाई के काम से ही दूर क्यों किया जा रहा है। यह कुठाराघात है। हम आह्वान करते हैं कि नगर निगम के सभी यूनियन हमारा साथ दें। आज हमने काम बंद किया है। हमने अधिकारियों-कर्मचारियों को भी निगम भवन से निकाल दिया और ताले लगा दिए। ये बैठेंगे तो चयन प्रक्रिया शुरू करेंगे। जब अंदर हमारा काम नहीं हो रहा है तो इन्हें क्यों अंदर बैठने दें। आज भीलवाड़ा जाम करेंगे। सफाई व्यवस्था ठप करेंगे। आंदोलन चलता रहेगा। 29 नवंबर को हमने जिला प्रशासन को मांगों का ज्ञापन सौंपा था, लेकिन सुनवाई नहीं हो रही है। भीलवाड़ा वाल्मीकि समाज के नगर अध्यक्ष राजेश ने बताया- आज सरकार से वार्ता करेंगे। हमें आंदोलन करते बहुत दिन हो गए। कलेक्टर को ज्ञापन भी दिए। भर्ती में वाल्मीक समाज को प्राथमिकता दी जाए। दूसरी जातियों की भर्ती न की जाए। आज समाज की मीटिंग कर प्रदर्शन किया और कचरा डालकर विरोध जताया है। इसके लिए सरकार जिम्मेदार है। निगम की सभी यूनियन हमारे साथ हैं।
मेयर बोले- अधिकारियों ने नियमों में कोताही बरती
पूरे मामले पर मेयर राकेश पाठक ने कहा- सीएम भजनलाल शर्मा ने एक साल में एक लाख लोगों को रोजगार देने का वादा किया था। इसी के तहत सरकार वाल्मीकि समाज के 30 हजार सफाईकर्मियों की भर्ती करने जा रही है। भीलवाड़ा में प्रशासनिक अधिकारियों की वजह से नियमों में कोताही बरती गई है। इस कारण भर्ती प्रक्रिया सूचारु पूरी नहीं हो रही। अधिकारियों ने कुछ अभ्यर्थियों को अनुभव प्रमाण पत्र जारी करने के लिए पीएफ और बैंक स्टेटमेंट मांगे जबकि कुछ अभ्यर्थियों को ठेकेदार के शपथ पत्र पर ही अनुभव प्रमाण पत्र जारी कर दिए। दोहरे मापदंड अपनाए गए हैं। जिला कलेक्टर से इस पर चर्चा करेंगे। मंत्री के पास जाएंगे। वाल्मीकि समाज और स्थानीय लोगों प्राथमिकता देंगे। यह भी बताया जा रहा था कि भर्ती के लिए 300 लोग उदयपुर से आ गए थे, भीलवाड़ा के लिए सिर्फ 9 लोग ही थे। ऐसा हुआ तो ट्रांसफर लेकर सफाईकर्मी उदयपुर चले जाएंगे और यहां कर्मियों की कमी आ जाएगी। पूरे राजस्थान में भर्ती के नियम एकरूप होने चाहिएं। उम्मीद है कि सीएम शाम से पहले इसका समाधान निकाल लेंगे।