श्रीगंगानगर। जिले में दर्ज साइबर फ्रॉड मामले से जुड़े आरोपियों की आयकर विभाग ने बेनामी संपत्ति लेनदेन निषेध अधिनियम के तहत बड़ी कार्रवाई की है। विभाग ने श्रीगंगानगर में दो और जयपुर में एक भूखंड को अस्थाई रूप से कुर्क किया है। ये भूखंड मलकीत सिंह के नाम पर हैं। मलकीत सिंह कैपमोर एफएक्स घोटाले के आरोपी करमजीत सिंह का पिता है। यह कार्रवाई साइबर अपराध पर जॉइंट टास्क फोर्स की 7 फरवरी को हुई पहली बैठक के बाद की गई है। साइबर अपराध एसपी, जयपुर द्वारा दी गई जानकारी के आधार पर यह एक्शन लिया गया। पुलिस जांच में सामने आया है कि 2022 में अजय आर्य, उसके पिता लाजपत राय आर्य और दीपक आर्य ने करमजीत सिंह के साथ मिलकर कर्नाटक के विजयपुर में कैपमोर एफएक्स कंपनी खोली। आरोपियों ने सोशल मीडिया पर ‘टीचेबल टेक’ के नाम से फॉरेक्स ट्रेडिंग की ऑनलाइन ट्रेनिंग देना शुरू किया।
आरोपियों ने फॉरेक्स ट्रेडिंग और क्रिप्टो करेंसी के नाम पर हजारों लोगों को पोंजी स्कीम में फंसाया। उन्होंने दोगुना-तिगुना रिटर्न का लालच दिया। शुरुआत में पैसे लौटाकर विश्वास जीता। फिर पीड़ितों से उनके परिवार और दोस्तों को भी स्कीम में लाने को कहा। आरोपियों के बैंक खातों से जुड़ी 76 हजार से ज्यादा साइबर फ्रॉड की शिकायतें मिली हैं। यह घोटाला हजारों करोड़ का हो सकता है। आरोपियों ने इस पैसे से खुद और परिवार के नाम पर संपत्तियां खरीदी। आरईआईसी जयपुर के तहत गठित जेटीएफ के संयोजक आयकर महानिदेशक (अन्वेषण) राजस्थान है। इसमें आयकर विभाग, ईडी, सीबीआई और राजस्थान पुलिस शामिल है। पुलिस की ओर से सीआईडी सीबी, एसओजी और डीजीपी साइबर क्राइम प्रतिनिधित्व कर रहे हैं। साइबर अपराधियों पर लगाम लगाने के लिए ऐसी कार्रवाई की जा रही है।