भरतपुर / बाड़मेर। आने वाले समय में पीएम किसान सम्मान निधि, कृषि विभाग की योजनाएं, किसी प्रकार की सब्सिडी, फसल बीमा आदि का लाभ लेने के लिए फार्मर आईडी जरूरी होगी। यह आईडी फार्मर रजिस्ट्री करवाने से मिलेगी। इसके लिए प्रदेश में ग्राम पंचायत मुख्यालयों पर 5 फरवरी से 31 मार्च तक फार्मर रजिस्ट्री शिविर लगाए जाएंगे। इस दौरान पंचायतीराज विभाग, कृषि, राजस्व आदि 5 विभागों की समस्त योजनाओं को फार्मर आईडी से जोड़ी जाएगी। इसके बाद किसी भी योजना का लाभ लेने के लिए जन आधार की तरह फार्मर आईडी भी जरूरी होगी।
अभियान के दौरान जन्म-मृत्यु पंजीयन प्रमाण पत्र, लम्बित पट्टों का निस्तारण, विमुक्त/घुमन्तु व अर्द्धघुमन्तु भूखण्ड पट्टा आवंटन, सामाजिक सुरक्षा पेंशन का लाभ हाथों हाथ दिया जाएगा। किसानों की 11 डिजिट की एक अलग पहचान होगी। फार्मर आईडी से किसान के समस्त कृषि भूखंड हिस्सा जुड़े होंगे एवं इसे किसान के आधार से लिंक किया जाएगा। इस प्रकार प्रत्येक किसान का नाम, पिता का नाम, स्वामित्व वाले समस्त खसरा संख्या, सह खातेदार होने की स्थिति में खसरे में किसान का हिस्सा, मोबाइल नंबर, आधार संख्या, ई-केवाईसी विवरण फार्मर रजिस्ट्री में दर्ज होगा। इसका सबसे बड़ा फायदा होगा कि किसानों को बार–बार सत्यापन नहीं करवाना पड़ेगा।
आधार कार्ड से एप के जरिए पूरी कराई जाएगी पंजीकरण प्रक्रिया
कर्मचारियों को एपीके लिंक के माध्यम से फार्मर रजिस्ट्री के लिए मोबाइल एप्लीकेशन डाउनलोड करनी होगी और ले-आउट प्लान के अनुसार प्रक्रिया पूर्ण की जाएगी। सबसे पहले ई-केवाईसी होगी, जहां पर सर्वप्रथम कृषक अपना आधार कार्ड देगा। ऑपरेटर कृषक का आधार नंबर लेकर मोबाइल एप पर फार्मर की ई-केवाईसी पूरी करेगा। इसके बाद मौके पर ही भूमि सत्यापन की प्रक्रिया पूरी होगी। इसमें आधार कार्ड के साथ अद्यतन जमाबंदी प्रस्तुत करनी होगी।
भूमि सत्यापन बाद किसान का पंजीकरण पूरा माना जाएगा। इसके बाद किसानों को एनरोलमेंट नंबर दिया जाएगा। साथ ही प्रिंट दस्तावेज देंगे। उल्लेखनीय है कि कई राज्यों में फार्मर रजिस्ट्री बनाने का काम तेजी से हो रहा है। लक्ष्य से न पिछड़ जाएं इसके लिए राजस्थान में पाच फरवरी से 31 मार्च तक अभियान चलाने का निर्णय लिया है। इसे बनाने के लिए किसी प्रकार का शुल्क नहीं लिया जाएगा। अन्य योजनाओं से जुड़ पाएंगे।
कार्ड से पता चलेगा किन-किन योजनाओं का लाभ ले रखा है
फार्मर कार्ड से पीएम किसान योजना को सैचुरेशन करने में सहायता मिलेगी। कृषकों को फसली ऋण हेतु किसान क्रेडिट कार्ड एवं एग्रीकल्चर इंफ्रास्ट्रक्चर फंड, कृषि के विकास हेतु अन्य ऋण प्राप्त करने में सुगमता होगी। फसल बीमा का लाभ प्राप्त करने में सुगमता होगी। आपदा प्रबंधन के अंतर्गत सरकार को क्षतिपूर्ति हेतु कृषकों के पहचान करने में सुगमता होगी।
न्यूनतम समर्थन मूल्य पर खरीद में कृषकों का ऑटो पंजीकरण ऑनलाइन माध्यम से हो सकेगा। कृषकों को विभिन्न सरकारी योजनाओं के लाभ प्राप्त करने में कृषि एवं सम्बद्ध विभागों को फार्मर रजिस्ट्री के उपलब्ध आंकड़ों के आधार पर योजनाओं का लाभ वितरण करने में सुगमता होगी और बार-बार सत्यापन आवश्यक नहीं होगा। बहुत सी योजनाओं का फायदा लेने के लिए किसानों को ई मित्र पर जाने की भी जरूरत नहीं रहेगी।