जोधपुर,8,अक्टूबर, 2024
[चेतन चौहान]एम्स, जोधपुर के मनोचिकित्सा विभाग द्वारा मनाए जा रहे मानसिक स्वास्थ्य सप्ताह के अंतर्गत अपर आचार्य डॉ मुकेश कुमार स्वामी एवम् नैदानिक मनोवैज्ञानिक डॉ तनु गुप्ता द्वारा विद्यार्थियों, भावी चिकित्सकों एवम् कर्मचारियों के लिए जीवन कौशल विषय पर इंटरएक्टिव सेमिनार का आयोजन किया गया। जीवन कौशल, अनुकूल और सकारात्मक व्यवहार करने के लिए ज़रूरी योग्यताएं हैं, जो लोगो को रोज़मर्रा की ज़िंदगी की चुनौतियों से निपटने में मदद करती हैं। चिकित्सीय पेशे से जुड़े लोगो में बढ़ रहे तनाव को कम करने में जीवन कौशल की महत्वपूर्ण भूमिका हो सकती हैं। सेशन में सेल्फ अवेयरनेस की जरूरत और रिफ्लेक्शन के तरीकों के बारे में बताया गया।
डॉ मुकेश कुमार स्वामी ने बताया कि खुद को समझने के लिए, अपने व्यवहार के साथ, अपने विश्वास और सोचने के तरीके, जीवन में अपने उद्देश्य, अपनी कमजोरियों और ताकत का विश्लेषण करना जरूरी है । स्वयं के बारे में समझ बढ़ने के लिए निश्चित समय तय कर अपने पूरे दिन के अनुभव को लिखना और स्वयं से ही उसे लेकर सवाल पूछना एक अच्छा तरीका है । जैसे कि मैंने क्या अनुभव किया? इसका क्या कारण था? क्या इसमें बदलाव की जरूरत है? इसके लिए क्या किया जा सकता है? इसी तरह से अपने सामाजिक व्यवहार को बेहतरी के लिए समझा जा सकता है ताकि उपयुक्त बदलाव किए जा सकें। डॉ तनु गुप्ता ने बताया कि खुद की बेहतर समझ होने से हम अपने काम में ज्यादा अच्छे से जुड़ाव रख सकते है और जीवन को अधिक आनंददायक बना सकते है । साथ ही अपने सामाजिक रिश्तों को बेहतर बना सकते है।
साथ ही नर्सिंग कॉलेज के के सहयोग से मानसिक स्वास्थ्य से जुड़े हुए विषयों पर आशुभाषण प्रतियोगिता का आयोजन किया गया, जिसमे लगभग 20 प्रतिभागियों ने हिस्सा लिया। मूल्यांकन डॉ प्रांशु सिंह एवम् श्रीमती निम्रता ने किया। विभाग के सह आचार्य डॉ नवरतन सुधार के नेतृत्व में मनोचिकित्सकों की टीम द्वारा जिला चिकित्सालय, प्रतापनगर में मानसिक स्वास्थ्य शिविर का आयोजन कर परामर्श दिया तथा आमजन को मानसिक बीमारियो के बारे में जागरूकता प्रदान की गई।
Author: AKSHAY OJHA
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